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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

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सनम प्रतापगढ़ी

सनम प्रतापगढ़ी

अशआर 2

ख़ुद ही परवाने जल गए वर्ना

शम्अ जलती है रौशनी के लिए

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हो सके तो जवाब दे देना

ये मोहब्बत का आख़िरी ख़त है

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